बकायेदारों पर नोएडा प्राधिकरण ने नकेल कसनी शुरू कर दी है। इसमें पानी के राजस्व का बकाया, प्लेटफॉर्म का किराये का बकाया और वेंडर जोन के आवंटियों की किश्तें जमा नहीं करने पर कार्रवाई के लिए तारीख तय कर दी गई है। तय समय पर पैसे जमा नहीं करने पर प्राधिकरण कार्रवाई करेगा।
798 प्लेटफॉर्म आवंटियों की डेडलाइन 10 फरवरी
सेक्टर-31, 62 और 110 में रेहड़ी पटरी पर व्यवसाय करने वाले लोगों को प्लेटफॉर्म योजना 2004-2005 के माध्यम से फल, फूल, नाई, कपड़ा, मसाले, अखबार, मीट, मुर्गा, मछली का व्यवसाय करने के लिए पांच वर्ष के लिए प्लेटफॉर्म का आवंटन किया गया था। सेक्टर-31 में 104, 62 में 468 और 110 में 226 प्लेटफॉर्म आवंटियों पर वर्तमान में 115 करोड़ का बकाया है। अप्रैल-2018 मेेेें प्राधिकरण की 194वीं बोर्ड बैठक में इन्हें पैसे जमा करने के लिए समय दिया गया, लेकिन 4-5 लोगों के अलावा किसी ने पैसे जमा नहीं कराए। प्राधिकरण की ओर से भेजे जाने वाले डिमांड नोटिस भी वापस आ रहे हैं। ऐसे में प्राधिकरण ने 10 फरवरी तक पैसे जमा करने का आखिरी नोटिस भेजा है। सीईओ का स्पष्ट निर्देश है कि अगर पैसे जमा नहीं किए जाते हैं तो आवंटन निरस्त कर दिया जाएगा। साथ ही, इनके खिलाफ रिकवरी सर्टिफिकेट जारी कर बकाये पैसे की वसूली कराई जाएगी।
वेंडर लोकेशन के लिए शुल्क जमा नहीं किया
शहर में वेंडर लोकेशन के आवंटन के लिए पहले चरण में वर्क सर्किल-1 व 3 से 9 के निर्धारित 60 वेंडर लोकेशन के लिए 2472 सत्यापित पथ विक्रेताओं का चयन ड्रॉ से किया गया। इनमें से 2211 रेहड़ी पटरी वालों ने चालान बनवाए हैं। जिन रेहड़ी पटरी वालों के जमा चालान वर्क सर्किल को उपलब्ध कराए गए हैं उनको वेंडर लोकेशन के लिए पथ विक्रय प्रमाण पत्र और पहचान पत्र उपलब्ध करा दिए गए हैं। इन्हें वेंडर लोकेशन पर भेजने की कार्रवाई की जा रही है। एक सप्ताह में सभी वर्क सर्किलों को यह काम पूरा करना है। दूसरे चरण में वर्क सर्किल-1, 2 और 8 के 862 रेहड़ी पटरी वालों को 29 लोकेशन पर स्थान का आवंटन किया गया है। इन्हें फरवरी में वेंडर जोन दिए जाएंगे। इसके अलावा सभी वर्क सर्किलों को यह निर्देश दिया गया है कि जहां से भी रेहड़ी पटरी वालों को हटाकर वेंडर जोन में भेजा जा रहा है। उनकी पुरानी जगह पर दूसरी रेहड़ी पटरी नहीं लगनी चाहिए। इसके अलावा सीईओ रितु माहेश्वरी के निर्देश के मुताबिक 5 फरवरी तक जो रेहड़ी पटरी वाला शुल्क जमा नहीं करता है उसका आवंटन निरस्त कर दिया जाएगा।
पानी के बकायेदारों पर 95 करोड़ बकाया, कटेगा कनेक्शन
नोएडा की विभिन्न श्रेणियों के आवंटियों, आरडब्ल्यूए के पदाधिकारियों, उद्यमियों व व्यवसायियों की मांग पर जल एवं सीवर विभाग की बकाये राशि पर लगने वाले ब्याज की राशि में छूट देने के लिए एक मुश्त समाधान योजना के तहत 1 दिसंबर 2019 से 29 फरवरी 2020 तक स्कीम निकाली गई है, लेकिन दिसंबर और जनवरी में इसका ज्यादा लोगों ने लाभ नहीं लिया। वर्तमान वित्तीय वर्ष में अभी तक केवल 90 करोड़ की राशि जमा कराई गई है। वहीं, दिसंबर और जनवरी में एकमुश्त समाधान योजना के तहत केवल 16.58 करोड़ रुपये जमा कराए गए हैं। इनके लिए फरवरी में अंतिम मौका मिलेगा। सीईओ रितु माहेश्वरी का कहना है कि जल-सीवर की बकाया राशि 29 फरवरी तक जमा नहीं करने पर बिना नोटिस के बकायेदार आवंटियों के जल-सीवर के कनेक्शन काट दिए जाएंगे। दो माह पहले तक एक लाख से 10 लाख के बीच के 320 बकायेदार थे, जिन पर 55 करोड़ रुपये का बकाया है। वहीं, ग्रुप हाउसिंग के 10 लाख से अधिक के 53 बकायेदारों पर 54 करोड़ रुपये बकाया हैं। इनमें से अभी दो माह में केवल 16.58 करोड़ वापस आए। लिहाजा, अभी भी करीब 95 करोड़ रुपये का बकाया है। पैसे जमा नहीं करने पर एक लाख रुपये से अधिक के बकायेदारों पर कार्रवाई निश्चित है।
बकायेदारों पर प्राधिकरण कसेगा नकेल, आवंटन होंगे निरस्त